भारतीय माइक्रोब्लॉगिंग प्लेटफॉर्म Koo अपनी सेवाएँ बंद कर रहा है, क्योंकि इसे खरीददार नहीं मिल सका। प्लेटफॉर्म का उद्देश्य स्थानीय भाषाओं में उपयोगकर्ताओं को अभिव्यक्त करने का मौका देना था। हालांकि, बड़े प्रतियोगियों के सामने यह अपने यूजर एंगेजमेंट को बनाए रखने में असफल रहा।